बर्बादी रोकने वाले ट्रंप को शहबाज ने किया नोबेल नामांकित, जानिए क्यों

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इस्लामाबाद 
पाकिस्तान के पीएम शहबाज शरीफ का कहना है कि उनकी सरकार ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का नामांकन नोबेल पुरस्कार के लिए किया है। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार ने ऐसा इसलिए किया है क्योंकि डोनाल्ड ट्रंप ने ही भारत के साथ हमारी जंग रुकवा दी थी। शहबाज शरीफ ने कहा कि इससे बड़ी बर्बादी होने से रुक गई। शहबाज शरीफ की सरकार इसलिए डोनाल्ड ट्रंप को क्रेडिट दे रही है ताकि भारत से मिली मार को छिपाया जा सके और उस हकीकत को भी दबाया जाए, जिसके तहत पाकिस्तान के डीजीएमओ ने अपने भारतीय समकक्ष से हॉटलाइन पर बात की थी और जंग रोकने की अपील की थी।

ऐसे में तीसरे पक्ष यानी अमेरिकी की एंट्री कराकर अपनी कमजोरी छिपाने की कोशिश पाकिस्तान कर रहा है। पाकिस्तानी सरकार ने जून 2025 में औपचारिक रूप से अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को 2026 के नोबेल शांति पुरस्कार के लिए नामित करने का निर्णय लिया, जिसमें भारत-पाकिस्तान के बीच मई में हुए सैन्य टकराव को समाप्त करने में उनके 'निर्णायक कूटनीतिक हस्तक्षेप और नेतृत्व' की सराहना की गई। यह घोषणा 21 जून 2025 को की गई थी। वहीं भारत की ओर से अमेरिकी दखल की खबरों को लगातार खारिज किया जाता रहा है। माना जाता है कि भारत की ओर से अमेरिकी दखल को खारिज किए जाने से ही डोनाल्ड ट्रंप प्रशासन नाराज है।

भारतीय अधिकारियों ने अमेरिकी हस्तक्षेप की भूमिका को खारिज किया है। भारत के विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने 10 मई को कहा कि पाकिस्तान की सेना ने युद्धविराम के लिए संपर्क किया था और दोनों पक्षों ने सभी सैन्य कार्रवाई रोकने पर सहमति जताई थी, जिसमें अमेरिका की भूमिका का कोई उल्लेख नहीं था। 28 जुलाई को भारत के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि "सभी राजनीतिक और सैन्य उद्देश्य पूरे होने के बाद ही ऑपरेशन रोका गया" और किसी बाहरी दबाव से इनकार किया।

बता दें कि जून 2025 में पाकिस्तान के सेना प्रमुख असीम मुनीर और राष्ट्रपति ट्रंप के बीच उच्च स्तरीय बैठकें हुईं, जिससे दोनों देशों के बीच संबंध और मजबूत हुए। इस बीच, पाकिस्तान के भीतर ट्रंप की नोबेल नामांकन पर बहस भी हुई, खासकर अमेरिका द्वारा ईरान पर हमलों के बाद ऐसा हुआ।

 

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