संसद में उठा छत्तीसगढ़ में धर्मांतरण का मुद्दा, विपक्ष पर देश को गुमराह करने का आरोप

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नई दिल्ली

छत्तीसगढ़ में धर्मांतरण और मानव तस्करी के आरोप में 2 ननों की गिरफ्तारी का मामला प्रदेश से लेकर दिल्ली तक गरमाया हुआ है. आज संसद सत्र के शून्यकाल में दुर्ग लोकसभा के सांसद विजय बघेल ने इस संवेदनशील मुद्दे को सदन के पटल पर रखा. उन्होंने कहा, दुर्ग रेलवे स्टेशन में मानव तस्करी और धर्मांतरण कर दो नन बस्तर की आदिवासी बेटियों को आगरा लेकर जा रहे थे, जिन्हें दुर्ग जिले के हमारे जागरूक नागरिकों ने बचाया.

सांसद बघेल ने कहा, कांग्रेस का चाल, चरित्र और चेहरा सबके सामने आ गया है. कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राहुल गांधी, प्रियंका गांधी सहित कांग्रेस के सांसद और नेता मानव तस्करी को बढ़ावा दे रहे हैं. यह नन के समर्थन में खड़े हो रहे हैं.

उन्होंने कहा, शांतिप्रिय छत्तीसगढ़ में कांग्रेस भ्रम फैलाकर अराजकता पैदा करना चाह रही है. कानून अपना काम कर रही है और यह सभी नन के समर्थन में खड़े होकर दबाव बनाने का काम कर रहे हैं.

देश की सामाजिक एकता और सांस्कृतिक मूल्यों पर सीधा हमला
रायपुर सांसद एवं वरिष्ठ भाजपा नेता बृजमोहन अग्रवाल ने आदिवासी समाज को लक्ष्य बनाकर किए जा रहे सुनियोजित धर्मांतरण पर गंभीर चिंता जताई है. उन्होंने पिछले दिनों गिरफ्तार ननों के मामले में कांग्रेस और विपक्षी दलों पर देश की जनसांख्यिकी (डेमोग्राफी) को बिगाड़ने का षड्यंत्र रचने का आरोप लगाया है. उन्होंने कहा कि कांग्रेस समेत पूरा विपक्ष देश को धर्मांतरण का अड्डा बना देना चाहता है. विशेष रूप से आदिवासी समाज को लालच, प्रलोभन और दवाब के माध्यम से उनके पारंपरिक विश्वास से दूर किया जा रहा है. यह केवल धार्मिक आस्था का मामला नहीं, बल्कि देश की सामाजिक एकता और सांस्कृतिक मूल्यों पर सीधा हमला है.

ननों की गिरफ्तारी धर्मांतरण के पीछे चल रहे नेटवर्क की एक कड़ी
सांसद बृजमोहन ने केरल की दो ननों की गिरफ्तारी का उल्लेख करते हुए कहा कि, “इन दोनों ननों को आदिवासी क्षेत्र में प्रार्थना सभा की आड़ में मासूम आदिवासियों को धर्मांतरण के लिए प्रेरित करने के गंभीर आरोप में गिरफ्तार किया गया है. यह घटना धर्मांतरण के पीछे चल रहे नेटवर्क की एक कड़ी भर है।” उन्होंने कहा कि चिंता की बात यह है कि विपक्ष के कई सांसद और नेता इन आरोपियों के समर्थन में खड़े हो गए हैं. इससे स्पष्ट होता है कि विपक्ष धर्मांतरण का समर्थन करता है और इसी एजेंडे को छुपाकर चल रहा है.

विपक्षी दल बताएं कि वे धर्मांतरण के खिलाफ हैं या समर्थन में?
बृजमोहन अग्रवाल ने विपक्ष से दो टूक पूछा कि, “कांग्रेस और विपक्षी दल साफ-साफ देश को बताएं कि वे धर्मांतरण के खिलाफ हैं या समर्थन में? अगर वे इसके विरोध में हैं तो फिर वे ऐसे मामलों में दोषियों के साथ खड़े क्यों होते हैं? उन्होंने कहा कि आदिवासी समाज की संस्कृति, पहचान और परंपरा को बचाने के लिए हर स्तर पर कठोर कदम उठाए जाने चाहिए. जो लोग भोले-भाले आदिवासियों को बहकाकर उनका धर्म परिवर्तन करवा रहे हैं, उनके खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई होनी चाहिए. सांसद ने यह भी स्पष्ट किया कि भाजपा और केंद्र सरकार आदिवासियों की सांस्कृतिक विरासत की रक्षक है और हम किसी भी कीमत पर उनके धर्मांतरण के षड्यंत्र को सफल नहीं होने देंगे.

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