बाढ़ से बेहाल पंजाब, लाखों जिंदगी दांव पर—हर तरफ पानी ही पानी

लुधियाना
पंजाब के लुधियाना में सतलुज नदी का जलस्तर बढ़ने से बाढ़ का खतरा और गंभीर हो गया है. गांव ससराली के पास बने बांध में पिछले 48 घंटों से लगातार कटाव हो रहा है. शुक्रवार तक बांध पर 16 फुट का कटाव दर्ज किया गया. इसके चलते किसानों के ट्यूबवेल बह गए और पानी रिंग बांध तक पहुंच गया. यह नया रिंग बांध मुख्य बांध से 700 मीटर की दूरी पर बनाया गया था, लेकिन अब खतरे में है.
स्थिति को संभालने के लिए आर्मी और एनडीआरएफ की टीमें मौके पर तैनात की गई हैं. प्रशासन की तरफ से कटाव रोकने की कोशिश की गई, लेकिन सफलता नहीं मिल सकी. अधिकारियों के मुताबिक, अगर यहां से पानी और आगे बढ़ा तो लुधियाना के 14 गांवों में बाढ़ आ सकती है.
साथ ही शहरी इलाकों जैसे राहों रोड, टिब्बा रोड, ताजपुर रोड, नूरवाला रोड और समराला चौक तक पानी पहुंचने की आशंका है. साहनेवाल के धनांसू इलाके में भी पानी भर सकता है, जिससे करीब 50 हजार लोग प्रभावित होंगे.
एंबुलेंस खाई में गिरी, 3 की मौत
पंजाब के होशियारपुर में बड़ा हादसा हो गया. यहां चिंतपूर्णी धर्मशाला नेशनल हाइवे पर मगुवाल गांव के पास एक एंबुलेंस खाई में गिर गई. हादसे में तीन लोगों की मौत हो गई. दो की हालत गंभीर होने पर होशियारपुर के सिविल अस्पताल रिफर किया गया. ये एंबुलेंस मरीज को लेकर कांगड़ा धर्मशाला से आ रही थी.
पंजाब में अब तक 43 लोगों की मौत
राजस्व, पुनर्वास और आपदा प्रबंधन मंत्री हरदीप सिंह मुंडियां ने शुक्रवार को बताया कि पिछले 24 घंटों में किसी की मौत की रिपोर्ट नहीं हुई है. हालांकि, 4 सितंबर तक राज्य के 14 जिलों में 43 लोगों की मौत हुई है.
अब तक 21,929 लोगों को सुरक्षित निकाला गया है और 196 राहत कैंप बनाए गए हैं, जिनमें 7,108 लोग शरण लिए हुए हैं. सबसे ज्यादा 2,548 लोग फाजिल्का में राहत शिविरों में भेजे गए, जबकि होशियारपुर (1,041), फिरोज़पुर (776) और पठानकोट (693) में भी प्रभावितों को कैंप में रखा गया है. कुल मिलाकर, अब तक 1.72 लाख हेक्टेयर खेती की जमीन को नुकसान पहुंचा है.
23 जिले और 3.84 लाख लोग प्रभावित
राज्यभर में अब तक 23 जिले और 1,948 गांव बाढ़ से प्रभावित हुए हैं. लगभग 3.84 लाख की आबादी सीधा असर झेल रही है. केंद्रीय टीमें भी प्रभावित इलाकों का दौरा कर रही हैं और रिपोर्ट तैयार कर रही हैं. इनमें कृषि, ग्रामीण विकास, ऊर्जा, वित्त, सड़क और जल शक्ति विभाग के अधिकारी शामिल हैं.
सांस्कृतिक धरोहर बचाने की कोशिश
शिक्षा मंत्री हरजोत सिंह बैंस ने शुक्रवार को सतलुज के तेज बहाव से आंशिक रूप से क्षतिग्रस्त प्राचीन लक्ष्मी नारायण मंदिर, नंगल की सुरक्षा के लिए कदम उठाए. उन्होंने कहा कि मंदिर को स्थायी रूप से मजबूत करने के लिए 1.27 करोड़ रुपये नगर परिषद के माध्यम से जारी किए जाएंगे. सामाजिक सुरक्षा विभाग ने बताया कि अब तक 479 बुजुर्गों की पहचान की गई है जिन्हें रेड क्रॉस सोसाइटी और जिला प्रशासन की मदद से सहायता दी जा रही है.